(१) इस जहाँ में मोहब्बत काश न होती !
तो सफर-ऐ-जिंदगी में मिठास न होती !!
अगर मिलती बेवफा को सजाए मौत...!
तो दीवानों की कब्र यूँ उदाश न होती !!
(२) जियो उसके लिए जो जीने का सहारा हो !
चाहो उसे जो आपको जान से भी प्यारा हो !!
राह में तो मिलेंगे बहुत साथी लेकिन....!
साथ उसका दो जिसने भीर में आपको पुकारा हो !!
(३) किस कदर मुझको सताते हो तुम !
भूल जाने पे भी याद आते हो तुम..!!
जब भी खुदा से कुछ मांगता हूँ !
मेरे दिल की दुवा बन जाते हो तुम !!
(४) जागते हैं तनहा रातों में !
खोते हैं दिल उनकी बातों में !!
मिली नहीं दिल की मंजिल आज तक !
क्योकि दर्द ही दर्द लिखा हैं इन हाथों में !!
(५) चुपके से धड़कन में उतर जायेंग�h !
राहें उल्फत में हद से गुजर जायेंगे !!
आप जो हमें इतना चाहेंगे.....!
हम तो आपकी साँसों में पिघल जायेंगे !!
एस ऍम फरीद "भारती"
तो सफर-ऐ-जिंदगी में मिठास न होती !!
अगर मिलती बेवफा को सजाए मौत...!
तो दीवानों की कब्र यूँ उदाश न होती !!
(२) जियो उसके लिए जो जीने का सहारा हो !
चाहो उसे जो आपको जान से भी प्यारा हो !!
राह में तो मिलेंगे बहुत साथी लेकिन....!
साथ उसका दो जिसने भीर में आपको पुकारा हो !!
(३) किस कदर मुझको सताते हो तुम !
भूल जाने पे भी याद आते हो तुम..!!
जब भी खुदा से कुछ मांगता हूँ !
मेरे दिल की दुवा बन जाते हो तुम !!
(४) जागते हैं तनहा रातों में !
खोते हैं दिल उनकी बातों में !!
मिली नहीं दिल की मंजिल आज तक !
क्योकि दर्द ही दर्द लिखा हैं इन हाथों में !!
(५) चुपके से धड़कन में उतर जायेंग�h !
राहें उल्फत में हद से गुजर जायेंगे !!
आप जो हमें इतना चाहेंगे.....!
हम तो आपकी साँसों में पिघल जायेंगे !!
एस ऍम फरीद "भारती"
No comments:
Post a Comment
आपका बहुत बहुत शुक्रिया जल्द ही हम आपको इसका जवाब देंगे ...