(१) काली रात को पाने की जिद न करो !
जो न हो अपना उसे अपनाने की जिद न करो !!
समुन्दर में तूफान बहुत आते हैं.......!
साहिल पे घर बनाने की जिद न करो !!
(२) जिसे याद करके ये दिल रो रहा हैं !
वो मुझे तड़पता देख खुश हो रहा हैं !!
चुरा के आँखों से नींद मेरी.....!
वो रात को चैन से बेखबर सो रहा हैं !!
(३) हमारे लिए उनके दिल में चाहत न थी !
किसी ख़ुशी में कोई दावत न थी.....!!
मैंने अपना दिल उनके कदम में रख दिया !
पर ज़मीन पर देखना उनकी आदत न थी !!
(४) हर जज़बात को जुबान नहीं मिलती !
हर आरजू को दुवा नहीं मिलती.....!!
हँसते रहो तो दुनियाँ रहती हैं साथ !
वर्ना आंसुओं को तो आँखों में भी पनाह नहीं मिलती !!
(५) चुपके से धड़कन में उतर जायेंगे !
राहे उल्फत में हद से गुजर जायेंगे !!
आप जो हमे इतना चाहेंगे......!
हम तो आपकी साँसों में पिघल जायेंगे !!
एस ऍम फरीद "भारती"
जो न हो अपना उसे अपनाने की जिद न करो !!
समुन्दर में तूफान बहुत आते हैं.......!
साहिल पे घर बनाने की जिद न करो !!
(२) जिसे याद करके ये दिल रो रहा हैं !
वो मुझे तड़पता देख खुश हो रहा हैं !!
चुरा के आँखों से नींद मेरी.....!
वो रात को चैन से बेखबर सो रहा हैं !!
(३) हमारे लिए उनके दिल में चाहत न थी !
किसी ख़ुशी में कोई दावत न थी.....!!
मैंने अपना दिल उनके कदम में रख दिया !
पर ज़मीन पर देखना उनकी आदत न थी !!
(४) हर जज़बात को जुबान नहीं मिलती !
हर आरजू को दुवा नहीं मिलती.....!!
हँसते रहो तो दुनियाँ रहती हैं साथ !
वर्ना आंसुओं को तो आँखों में भी पनाह नहीं मिलती !!
(५) चुपके से धड़कन में उतर जायेंगे !
राहे उल्फत में हद से गुजर जायेंगे !!
आप जो हमे इतना चाहेंगे......!
हम तो आपकी साँसों में पिघल जायेंगे !!
एस ऍम फरीद "भारती"
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